कोवैक्सीन के ट्रायल के थर्ड फेज के नतीजे जारी, डेल्टा वेरिएंट के खिलाफ भी 65.2% असरदार है टीका
जनवरी में इमरजेंसी इस्तेमाल की मिली थी इजाजत
देश में 34 करोड़ से ज्यादा वैक्सीन डोज दी जा चुकी
नई दिल्ली। यह खबर उन लोगों के निश्चित रूप से सकून भरी होगी जिन्होंने कोवैक्सीन लगवाई है। भारत बायोटेक की ओर से जारी किए गए फेज-3 ट्रायल के फाइनल एनालिसिस में कोवैक्सीन को वायरस के खिलाफ 77.8 फीसदी प्रभावी पाया गया है जबकि डेल्टा वेरिएंट के खिलाफ भी यह वैक्सीन 65.2 फीसदी असरदार पायी गयी है। वहीं कोरोना वायरस के गंभीर संक्रमण के खिलाफ इसे 93.4 फीसदी प्रभावी पाया गया है। कोवैक्सीन हल्के और गंभीर कोविड-19 के मामलों में 78 फीसदी प्रभावी पाई गई है। ऐसिम्प्टमैटिक केस में यह 63% प्रभावी है।कंपनी ने अपने नतीजों में बताया कि ट्रायल में 18 से 98 साल के 25,800 वॉलंटियर्स को शामिल किया गया था। यह ट्रायल देश में 25 जगह किया गया। ट्रायल में शामिल वॉलंटियर्स को दोनों डोज देने के बाद करीब दो हफ्तों तक उनके स्वास्थ्य पर नजर रखी गई थी।
आपको याद दिला दें कि देश में वर्तमान में जिन वैक्सीन को कोरोना के खिलाफ जंग में लोगों को लगाने की इजाजत दी गई है, उनमें स्वदेशी विकसित कोवैक्सीन भी शामिल है। भारत बायोटेक ने कुछ समय पहले मेड इन इंडिया कोविड-19 वैक्सीन के तीसरे चरण का ट्रायल डेटा डीसीजीआई को सौंपा था। इससे पहले डीसीजीआई ने कोवैक्सीन को पहले और दूसरे चरण के ट्रायल डेटा के आधार पर भारत में जनवरी के महीने में आपात इस्तेमाल करने की इजाजत दे दी थी। भारत मे 34 करोड़ से ज्यादा वैक्सीन डोज दी जा चुकी है. केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय के मुताबिक शुक्रवार सुबह तक 34,00,76,232 वैक्सीन डोज दी जा चुकी है जिसमें 27,94,54,091 लोगों पहली डोज दी जा चुकी है जबकि 6,06,22,141 दोनों डोज दी जा चुकी है। 45 से 59 साल की उम्र के 8,92,46,934 लोगों को पहली और 1,68,55,676 लोगों को कोरोना वैक्सीन की दूसरी डोज दी जा चुकी है। जबकि 60 साल से ज्यादा उम्र के 6,83,55,887 लोगों को पहली और 2,46,70,576 दूसरी डोज दी जा चुकी है।